कुछ उपयोगी टोटके छोटे-छोटे उपाय हर घर में लोग जानते हैं, पर उनकी विधिवत् जानकारी के अभाव में वे उनके लाभ से वंचित रह जाते हैं। इस लोकप्रिय स्तंभ में उपयोगी टोटकों की विधिवत् जानकारी दी जा रही है। नये उद्योग धंधों को कामयाव बनाने हेतु: प्रायः ऐसा देखा गया है कि मालिक अपने पुराने उद्योग से आशातीत सफलता पाकर अपना दूसरा नया उद्योग भी लगाना चाहता है। जब नया काम चालू करता है तो अनेकों वाधायें सामने आकर खड़ी हो जाती हैं। उनको हटाने के लिए अचूक टोटका दिया जा रहा है इससे आशातीत सफलता मिलेगी। शनिवार के दिन अपने पुराने उद्योग से कोई भी लोहे की वस्तु लाकर नये संस्थान में रख दें तथा उस स्थान को पवित्र कर लें व गंगा जल से शुद्ध कर लें। लोहे की वस्तु रखने से पहले साबुत काले उड़द डालकर उस पर वस्तु को रख दें, लेकिन जहां पर वह वस्तु रखी है उस स्थान को न बदलें। ऐसा करने से आपके नये उद्योग का भी काम सुचारू रूप से चलने लगेगा। नये व्यापार अथवा उद्योग में साझेदारी हेतु अचूक उपाय: प्रायः देखा जाता है जहां धन की लागत अत्यधिक हो, तो उसे अकेला प्राणी नहीं उठा सकता। तब वह कुछ साझेदारी बनाकर व धन में वृद्धि कर उद्योग को चलाने का कार्यक्रम तैयार करता है। किंतु एक कहावत प्रसिद्ध है कि साझे की हंडिया संदा चैराहे पर फूटती है अर्थात् आपस में लड़ाई, झगड़े इतने बढ़ जाते हैं कि कोर्ट-कचहरी तक चले जाते हैं। इस प्रकार की समस्या से छुटकारा पाने के लिए किसी दीपावली की रात को कच्चा सूत ले आयें तथा उसको मां लक्ष्मी जी के सामने बैठकर श्रद्धा के साथ बांटें। उसमें रोली के छींटे भी लगाएं, फिर कंपनी के द्वार पर टांग दें तथा धूप देकर गंगाजल छिड़ककर वहां शुद्धता व पवित्रता बनाये रखें तथा यह बोलें ‘‘मम कार्य सिद्धि कुरु कुरु स्वाहा।’’ यह क्रिया प्रत्येक दीपावली पर करते रहें तो साझेदारी में कभी झगड़ा नहीं होगा तथा काम स्वयं सुचारू रूप से चलता रहेगा। कर्मचारी काम छोड़कर न भागें: प्रायः हर कारखाने या कंपनी आदि के अंदर कुछ ऐसे दिमाग वाले भी लोग होते हैं जो धीरे-धीरे कर्मचारियों के मन में असंतोष पैदा करके व स्वयं को बिचैलिया रखकर बंदरवांट की क्रिया से अपना तथा अपने परिवार का पेट भरते हैं। अपने आपको ऐसे लोगों से कैसे बचायें जो कर्मचारियों से त्यागपत्र दिलाकर काम बंद करने की स्थिति में लाकर खड़ा कर देते हैं। ऐसी समस्या से छुटकारा पाने के लिए किसी भी शनिवार को अपने कारखाने के आते-जाते समय मार्ग में यदि कोई लोहे की कील मिल जाती है उसे गंगाजल में धोकर धूप लगाकर किसी स्थान में ठोक दें और हनुमान जी के निम्न मंत्र का 108 बार धूप दीप देकर एक माला का जप करें। मंत्र - ऊँ सर्वदुःख हराय नमः।।