शेयर बाजार में लाभ हेतु करें ज्योतिष का प्रयोग विनय गर्ग आ ज के भौतिक युग में हर व्यक्ति जल्द से जल्द कम से कम समय में अधिक से अधिक धन कमा लेना चाहता है। इसके लिए शेयर बाजार को लोग बहुत ही आसान व सुगम माध्यम समझ लेते हैं, जबकि वर्तमान स्थिति को देखकर ऐसा मानना बेमानी लगता है। क्या शेयर बाजार लाभदायक रहेगा? ज्योतिष की दृष्टि से किसी व्यक्ति विशेष के लिए शेयर बाजार लाभदायक व सफलतादायक होगा या नहीं, इसके लिए हमें उसके लग्न से अष्टम भाव पर विचार करना होगा। अष्टम भाव जहां अशुभ स्थानों में सबसे अशुभ स्थान माना जाता है, वहीं इस भाव से शुभ फलों की प्राप्ति का आकलन भी कर सकते हैं, जैसे किसी व्यक्ति को बीमा से लाभ होगा या नहीं, इसके लिए अष्टम भाव का विचार करेंगे। जातक को पैतृक संपत्ति मिलेगी या नहीं, इसके लिए भी अष्टम भाव का विचार करेंगे अर्थात् किसी भी प्रकार की ऐसी धन-संपत्ति, जिसको जातक बिना अधिक परिश्रम किए प्राप्त करता है, उसका विचार अष्टम भाव से किया जाता है। शेयर बाजार से कमाया गया धन भी कुछ इसी प्रकार का धन कहलाएगा। इसप्रकार जिसका अष्टमेश बली हो उसको अच्छे धन की प्राप्ति अधिक परिश्रम के बिना हो सकेगी। यहां यह बात हमें नहीं भूलनी चाहिए कि यदि द्वादशेश, अष्टम स्थान में स्थित हो या षष्ठेश अष्टम भाव में स्थित हो तो विपरीत राजयोग का निर्माण हो जाता है, परंतु इसका तात्पर्य यह है कि जातक को अष्टम भाव से संबंधित अशुभ फल नहीं मिलेंगे अर्थात् जातक को अष्टम भाव से संबंधित शुभ फल से कम परिश्रम द्वारा अधिक धन की प्राप्ति इस प्रकार, शेयर बाजार जैसे लाभ की भी प्राप्ति नहीं होगी अर्थात् जिसकी कुंडली में द्वादशेश या षष्ठेश या दोनों अष्टम भाव में स्थित हो जाएं तो ऐसे व्यक्ति को शेयर बाजार में कभी भी निवेश नहीं करना चाहिए, अन्यथा लाभ की अपेक्षा हानि की संभावना ही अधिक रहेगी। इसके अतिरिक्त यदि षष्ठेश पंचम भाव में राहु के साथ स्थित हो तो ऐसे व्यक्ति को शेयर बाजार में अकस्मात् धन प्राप्ति की संभावना अधिक रहती है। परंतु ऐसे व्यक्ति को अधिक लालच नहीं करना चाहिए। ऐसे व्यक्ति को यदि एक बार धन लाभ हो जाए तो कुछ समय के बाद ही फिर अपना भाग्य आजमाना चाहिए। विशेष तौर पर जब राहु में षष्ठेश की दशा हो और राहु उच्च का होकर पंचम भाव में स्थित होगा तो अत्यधिक लाभ देगा। कौन-सा शेयर खरीदें ? हर जातक को प्रत्येक प्रकार की कंपनियों के शेयर लाभप्रद नहीं हो सकते। ऐसे में किस जातक को कौन सा शेयर अधिक लाभ दे सकता है, इसका विश्लेषण करना होगा। प्रायः लग्नेश का संबंध जिन वस्तुओं से हो, जातक को उन वस्तुओं के व्यापार करने वाली कंपनियों के शेयर खरीदने चाहिए। जैसे किसी व्यक्ति का मकर या कुंभ लग्न है तो लग्नेश शनि होगा अर्थात् ऐसे व्यक्ति को शनि से संबंधित लोहे, पेट्रोल, केरोसीन, कोयला, खान से संबंधित उत्पादित वस्तुओं का कार्य करने वाली कंपनियों जैसे स्टील अथारिटी आॅफ इंडिया लिमिटेड, रिलायंस पेट्रो केमिकल्स तथा उत्खनन का कार्य करने वाली कंपनी के शेयरों से लाभ होने की संभावना अधिक होती है। इसके अतिरिक्त लग्न के अंश और राशि के आधार पर नक्षत्र स्वामी से संबंधित ग्रह का चुनाव करके उससे संबंधित वस्तुओं का व्यापार करनेवाली कंपनियों का शेयर खरीदना भी लाभप्रद हो सकता है। ऐसे ग्रह से संबंधित वस्तुओं के व्यापार करने वाली कंपनियों का चुनाव करें जो कुंडली में सबसे अधिक बलवान हो। योगकारक ग्रह से संबंधित वस्तु का व्यापार करने वाली कंपनी का शेयर खरीदना अधिक लाभप्रद होगा। जैसे मकर लग्न के लिए शुक्र योगकारक होगा तो ऐसे व्यक्ति को व्यक्ति को इलेक्ट्राॅनिक्स, सौंदर्य प्रसाधन उत्पादों की कंपनी, आभूषण, हीरे का व्यापार करने वाली कंपनी का चुनाव किया जाना चाहिए। यदि अष्टमेश लग्न में स्थित हो और उच्च, स्वराशि, मूल त्रिकोण या मित्र की राशि में हो तो ऐसे ग्रह से संबंधित वस्तु का व्यापार करनेवाली कंपनी का चुनाव भी शेयर खरीदने के लिए किया जा सकता है। यदि हम सभी ग्रहों से संबंधित ग्रहों की वस्तुओं को जान जाएं तो उस ग्रह से संबंधित होरा में कंपनी के शेयर को शुभ चैघड़िया का प्रयोग करते हुए हम खरीद कर अधिक लाभ कमा सकते हैं। विभिन्न ग्रहों से संबंधित वस्तुओं के नाम इस प्रकार हैं- सूर्य: ईंधन, बिजली, चमड़े की वस्तुएं, ऊन, सूखे अनाज, गेहँू, औषधि, सरकार से संबद्ध कार्य। चंद्र: कपड़ा, दूध, शहद, मिठाई, चावल, जौ, जल, समुद्र, तरल पदार्थ। मंगल: हथियार, भूमि, मकान, प्राॅपर्टी, अस्पताल, डाॅक्टर, तांबा, लाल मसूर, तम्बाकू, सरसों। बुध: पन्ना, तिलहन, मूंग, खाद्य तेल, मिश्र-धातुएं, कापी, पेन, पेपर, समाचार पत्र, पत्रिका, मोबाइल फोन, संचार माध्यम। गुरु: बैंक, फाइनेंस, सलाहकार, ज्योतिष सामग्री, धर्मग्रंथ, हल्दी, बेसन, केसर, चने की दाल, केला। शुक्र: काॅस्मेटिक पदार्थ, रेडीमेड गारमेंटस, रेस्टोरेंट, होटल, इत्र, सजावट की वस्तु, रेशम। शनि: लोहा, कोयला, पेट्रोल, बिजली, मशीन, यंत्र, सरिया, निर्माणकार्य, केरोसीन। किस समय शेयर खरीदें या बेचें? शेयर से लाभ कमाने के लिए उपयुक्त समय का भी काफी महत्व है। अच्छा से अच्छा शेयर गलत समय पर खरीदने पर आपको नुकसान दे सकता है और बेकार से बेकार शेयर भी उपयुक्त समय पर खरीदे जाने पर आपको लाभ दे सकता है। ऐसा नहीं है कि मंदी के दौर में जातक लाभ नहीं कमा सकता है। मंदी के दौर में भी जातक उचित शेयर उचित समय पर खरीदकर और उसको उपयुक्त समय पर बेचकर तेजी के दौर में भी अच्छा खासा धन कमा सकता है। इसके लिए हमें होरा मुहूर्त और चैघड़िया पर विचार करके शेयर को खरीदने और बेचने का समय निश्चित करके ही शेयर व्यापार करना चाहिए। उदाहरणार्थ, सोमवार के दिन आप ऐसी शेयर खरीदना चाहते हैं जो शनि से संबंधित अर्थात् स्टील, लोहे का व्यापार करने वाली कंपनी स्टील अथाॅरिटी आॅफ इंडिया का है तो उचित समय निर्धारण के लिए शनि की होरा और शुभ चैघड़िया का विचार करें। इसके लिए यह देखना होगा कि शनि की होरा कब आएगी, जबकि चैघड़िया भी शुभ हो। सोमवार के दिन शनि की होरा दूसरी, नवीं, सोलहवीं और 23वीं होगी। दूसरी, सोलहवीं व तेइसवीं होरा के समय शेयर बाजार बंद होगा या खुला नहीं होगा। सिर्फ 9वीं होरा के समय शेयर बाजार खुला होगा। इस प्रकार उस समय शनि से संबंधित व्यापार करने वाली कंपनियों के शेयर खरीद सकते हैं। यदि 6.30 बजे सूर्योदय हो तो 9वीं होरा का समय दोपहर 2.30 बजे से 3.30 बजे के बीच होगा। उस समय शनि की होरा होगी। सोमवार को 2 बजे से 3.30 बजे तक ‘चर’, 3.30 से 5.00 ‘लाभ’ और 5 से 6.30 बजे तक ‘अमृत’ की चैघड़िया होगी अर्थात् सभी शुभ चैघड़िया होगी। यदि हम 2.00 से 3.30 बजे तक की ‘चर’ चैघड़िया का चुनाव करके ‘शनि’ की होरा 2.30 से 3.30 के बीच के समय को निश्चित करें तो निश्चित ही ऐसे खरीदे हुए शेयर को कम समय में ही बेचकर लाभ कमाया जा सकता है इसी प्रकार शेयर को एक-दो दिन रखकर लाभ की चैघड़िया में बेचने पर लाभ कमाया जा सकता है। खास बात यह है कि इस समय राहुकाल भी नहीं होगा। याद रहे कि एक होरा की अवधि लगभग 1 घंटे की होती है। प्रत्येक दिन या वार को पहली होरा उस दिन या वार के प्रतिनिधि ग्रह की होती है। फिर उल्टे क्रम में एक छोड़कर एक वार का नाम लेते जाएं उससे संबंधित ग्रहों की होरा होगी और हर आठवीं होरा पुनः आती है। इस प्रकार, ग्रहों का होरा चार्ट निम्न प्रकार होगा:- होरा का प्रारंभ सूर्योदय से माना जाता है और अगले सूर्योदय पर पुनः अगले दिन की होरा का क्रम प्रारंभ हो जाता है। चैघड़िया चार्ट: चैघड़िया दिन और रात की अलग-अलग होती है। हम यहां दिन की चैघड़िया ही लेंगे, क्योंकि दिन में ही शेयर बाजार खुला होगा। चैघड़िया सूर्योदय से आरंभ हो जाती है और एक चैघड़िया का समय लगभग डेढ़ घंटे का होता है। इनमें से कुछ चैघड़िया शुभ होती है जिनके नाम हैं - अमृत, चर, लाभ और शुभ। इन चैघड़िया में ही शेयर से संबंधित किया गया व्यापार लाभकारी होगा। उद्वेग, काल और रोग जैसी चैघड़िया अशुभ चैघड़िया हैं। इनमें खरीदे गए शेयर लाभकारी नहीं होंगे। चैघड़िया का चार्ट ऊपर दिया गया है।