क्या आप जानते हैं
क्या आप जानते हैं

क्या आप जानते हैं  

व्यूस : 5363 | अकतूबर 2013
लिंग - लिंग के पुल्लिंग, स्त्रीलिंग और नपुंसक तीन भेद होते हैं जबकि अन्य भाषाओं में केवल दो ही भेद होते हैं। सन्धि - संस्कृत भाषा की सबसे महत्वपूर्ण विशेषता है सन्धि। संस्कृत में जब दो शब्द आपस में मिल जाते हैं तो वहाँ सन्धि होने से स्वरूप और उच्चारण बदल जाता है। इसे कम्प्यूटर और कृत्रिम बुद्धि के लिये सबसे उपयुक्त भाषा माना जाता है। शोध से ऐसा पाया गया है कि संस्कृत पढ़ने से स्मरण शक्ति बढ़ती है। दुनिया की सारी भाषाएं तोड़ी जाती हैं लेकिन सिर्फ व्यंजन ही आधे किये जा सकते हैं लेकिन किसी भी भाषा में स्वर को आधा किया जाना शायद असम्भव होगा। लेकिन संस्कृत ऐसी भाषा है जिसमें हम स्वर को भी आधा करके लिखते हैं अर्थात स्वर को भी तोड़ सकते हैं। संस्कृत वाक्यों में शब्दों को किसी भी क्रम में रखा जा सकता है। इससे अर्थ का अनर्थ होने की बहुत कम या कोई भी सम्भावना नहीं होती। ऐसा इसलिये होता है क्योंकि सभी शब्द विभक्ति और वचन के अनुसार होते हैं और क्रम बदलने पर भी सही अर्थ सुरक्षित रहता है। जैसे - अहं गृहं गच्छामि या गच्छामि गृहं अहम् दोनांे ही ठीक हैं। संस्कृत विश्व की सर्वाधिक पूर्ण (Perfect) एवं तर्कसम्मत भाषा है। देवनागरी एवं संस्कृत ही दो मात्र साधन हैं जो क्रमशः अंगुलियों एवं जीभ को लचीला बनाते हैं। इसके अध्ययन करने वाले छात्रों को गणित, विज्ञान एवं अन्य भाषाएँ ग्रहण करने में सहायता मिलती है। त - सर्वप्रथम मिश्र के लोगों ने मंगल को हर डेचर ;द रेड वनद्ध नाम दिया था। बेबिलोन के लोगों ने इसे नेरगल अर्थात् स्टार आॅफ डेथ का नाम दिया। ग्रीक और रोमन लोगों ने इसे अपने युद्ध के देवता के आधार पर ।तमे और डंते नाम दिया। हिब्रू लोगों ने इसे आदिम अर्थात् जो लज्जा से लाल हो जाता है, कहा। - मार्च महीने का नामकरण मार्स यानी मंगल के आधार पर हुआ। - मिश्र के लोगों ने मंगल को उल्टा चलने वाला कहा था क्योंकि यह हर 25.7 महीनों के पश्चात् उल्टा चलता हुआ प्रतीत होता है। - मंगल का लाल रंग आयरन आक्साइड अर्थात् जंग के कारण है। मंगल पर धातु की चट्टानों पर जंग चढ़ा रहता है। - मंगल के कम दबाव के कारण वहां कोई जीवित नहीं रह सकता। यदि आप बिना स्पेस सूट के मंगल ग्रह पर गए तो आपके शरीर के भीतर का आक्सीजन बुलबुलों में परिवर्तित हो जाएगा और परिणाम स्वरूप तुरंत मृत्यु हो जाएगी। - यदि आप 60 किमी. प्रतिघंटा की गति से गाड़ी चला रहे हैं तो आपको पृथ्वी से मंगल ग्रह पर पहुंचने के लिए 271 वर्ष व 221 दिनों का समय लगेगा। - पूरे सौरमंडल में सर्वाधिक हिंसक व विनाशक क्षमता वाले आंधी तूफान (Dust Storm) आते हैं। ऐसे भीषण तूफान एक सप्ताह तक चल सकते हैं और लगभग पूरे ग्रह को अपनी आगोश में ले सकते हैं। ऐसे तूफान अक्सर उस समय आते हैं जब मंगल सूर्य के समीप रहता है। - मंगल ग्रह पर भेजे गए Space crafts में से केवल एक तिहाई ही वहां पर सफलतापूर्वक पहुंच पाए। वैज्ञानिक सोचने पर मजबूर हं कि वहां क्या कोई बरमूडा ट्राएंगल या Great-Galactic ghoul है जो Space craft को खा जाता है। - 1976 में वाइकिंग प् की मंगल ग्रह पर से खींची गई एक तस्वीर में मानवीय चेहरे की आकृति दिखाई दी। - मंगल ग्रह पर एक मैरीनर वैली नामक विशालकाय घाटी है जो 2500 मील लंबी तथा 4 मील गहरी है अर्थात् यूनाइटेड स्टेट्स के आकार जितनी विशाल। - मंगल ग्रह 4.5 बिलियन वर्ष पूर्व उत्पन्न हुआ। इसकी चैड़ाई 4000 मील है। मंगल का द्रव्यमान पृथ्वी के कुल द्रव्यमान का 1/10 है। - मंगल की ऋतुएं पृथ्वी की ऋतुओं से दुगुनी बड़ी होती हैं क्योंकि मंगल को सूर्य की परिक्रमा में 687 दिन लगते हैं यानी पृथ्वी के 365 दिन की अपेक्षा लगभग दोगुना समय। - मंगल की शरद ऋतु में लगभग 20 प्रतिशत हवा जम (Freeze) हो जाती है। - गैलिलियो गैलिलाई पहले व्यक्ति थे जिन्होंने 1609 में एक टेलिस्कोप से मंगल ग्रह को निहारा।



Ask a Question?

Some problems are too personal to share via a written consultation! No matter what kind of predicament it is that you face, the Talk to an Astrologer service at Future Point aims to get you out of all your misery at once.

SHARE YOUR PROBLEM, GET SOLUTIONS

  • Health

  • Family

  • Marriage

  • Career

  • Finance

  • Business


.