ज्योतिष का अध्ययन करते समय कई बार यह विचार अवश्य आता है कि जन्म समय के चन्द्र नक्षत्र का प्रयोग जीवन के प्रत्येक क्षेत्र में किया जाता है। इसी से ही दशाएं ज्ञात कर जातक विशेष के भविष्य से जुड़े सभी सवालों के जवाब दिये जाते हैं।
ज्योतिषीय शोध के दौरान यह जानने का प्रयास किया गया कि क्या जातक विशेष के जीवन में जन्म लग्न के नक्षत्र का भी कुछ प्रभाव पड़ता है। इसके लिए लगभगभ 100 व्यक्तियों की कुण्डली का अध्ययन किया गया। यह निष्कर्ष निकला कि यदि जातक विशेष को जन्म लग्न के नक्षत्र स्वामी की दशा मिली हो तो उस दशा में बहुत तरक्की या सफलता मिलती है। इस शोध में यह भी पता चला कि जन्म लग्न के नक्षत्र स्वामी की दशा कुछेक लोगों को ही अपने जीवन में मिल पाती है परन्तु जितने लोगों को यह दशा मिलती है उन सभी को इस दशा में लाभ ही प्राप्त होते हैं।
उस दशा का स्वामी उनके लग्न का चाहे शत्रु हो या अशुभ भावों का स्वामी हो वह उनको रक्षक की तरह शुभता ही प्रदान करता है। ज्योतिष का अध्ययन करते समय कई बार यह विचार अवश्य आता है कि जन्म समय के चन्द्र नक्षत्र का प्रयोग जीवन के प्रत्येक क्षेत्र में किया जाता है।
इसी से ही दशाएं ज्ञात कर जातक विशेष के भविष्य से जुड़े सभी सवालों के जवाब दिये जाते हैं। ज्योतिषीय शोध के दौरान यह जानने का प्रयास किया गया कि क्या जातक विशेष के जीवन में जन्म लग्न के नक्षत्र का भी कुछ प्रभाव पड़ता है। इसके लिए लगभगभ 100 व्यक्तियों की कुण्डली का अध्ययन किया गया। यह निष्कर्ष निकला कि यदि जातक विशेष को जन्म लग्न के नक्षत्र स्वामी की दशा मिली हो तो उस दशा में बहुत तरक्की या सफलता मिलती है।
इस शोध में यह भी पता चला कि जन्म लग्न के नक्षत्र स्वामी की दशा कुछेक लोगों को ही अपने जीवन में मिल पाती है परन्तु जितने लोगों को यह दशा मिलती है उन सभी को इस दशा में लाभ ही प्राप्त होते हैं। उस दशा का स्वामी उनके लग्न का चाहे शत्रु हो या अशुभ भावों का स्वामी हो वह उनको रक्षक की तरह शुभता ही प्रदान करता है।
आइए अब कुछ उदाहरण देखते हैं जिनमें यह स्पष्ट होता है कि जन्म लग्न के नक्षत्र स्वामी की दशा लाभकारी होती है।
1. लता मंगेशकर (28. 9.1929 22:30 इंदौर)- इनका जन्म लग्न नक्षत्र मृगशिरा है जिसके स्वामी मंगल की दशा इन्हें 1989 से 1996 के बीच मिली। इस दौरान इन्हें भारतीय सिनेमा का सबसे बड़ा पुरस्कार दादा साहब फाल्के प्राप्त हुआ। इसी समय इन्होंने विदेशों में बहुत कार्यक्रम किए और पूरी दुनिया में इनका नाम हुआ तथा इन्हें फिल्मों में गायन के लिए 3 बार फिल्मफेयर पुरस्कार भी मिले जिसके बाद इन्होंने अपना नाम पुरस्कारों की दौड़ से हटा लिया परंतु फिल्म संगीत में यह फिर भी अव्वल बनी रहीं और इनका रुतबा बरकरार रहा।
2. कपिल देव (6.1.1959 5:30 चंडीगढ़)- इनका जन्म लग्न नक्षत्र (ज्येष्ठा) स्वामी बुध है जिसकी दशा इन्हें 1970 से 1987 के बीच मिली जिस दौरान इन्होंने अपना परचम क्रिकेट जगत में लहराया। 1975 में इन्होंने घरेलू व 1978 में अन्तर्राष्ट्रीय क्रिकेट में पदार्पण किया। फिर इन्हीं की कप्तानी में इन्होंने भारत को 1983 का विश्व कप जिताकर पूरी दुनिया में अपना व भारत का नाम रोशन किया। इसी समय क्रिकेट जगत में ये सबसे कम उम्र में 200 व 300 विकेट लेने वाले खिलाड़ी भी बने।
3. नरसिम्हा राव (28.06.1921 13:00 करीमनगर, आंध्र प्रदेश)- इनका जन्म लग्न नक्षत्र (चित्रा) स्वामी मंगल है जिसकी दशा इन्हे 1990 से 1997 के बीच मिली और इसी दशा में ये भारत के प्रधानमंत्री बने (21.6.1991 से 16.05.1996)।
4. बी.वी रमन (08.08.1912 19:42 बंगलोर)- इनका जन्म लग्न नक्षत्र शतभिषा जिसके स्वामी राहु हैं, की दशा इन्हें 1919 से 1937 के बीच मिली जिस दौरान इन्होंने अपने दादा द्वारा लिखित ज्योतिषीय पत्रिका एस्ट्रोलाजिकल मैगजीन का फिर से प्रकाशन आरंभ किया जिससे पूरी दुनिया में इन्हें ज्योतिषी के रूप में जाना जाने लगा। इसी दौरान इन्होंने ज्योतिष की कई पुरानी किताबों का अंग्रेजी में अनुवाद किया और विश्व भर में ख्याति पायी।
5. सानिया मिर्जा (15.11.1986 11:28 मुम्बई)- इनका जन्म लग्न नक्षत्र स्वामी (उत्तराषाढ़ा) सूर्य है। सूर्य की दशा इन्हें 2004 से 2010 के मध्य मिली। इसी दौरान ही इन्होंने टेनिस खेल में अपना पहला खिताब जीता व बाद में अधिकतर खिताब जीते व विश्व के शीर्ष महिला टेनिस खिलाड़ियों में इनका नाम हुआ।
6. मुकेश अंबानी (19.04.1957 19:31 यमन) - इनका जन्म लग्न नक्षत्र स्वाति है जिसके स्वामी राहु की दशा इन्हें 2002 से 2020 तक मिली है। इसी दशा में इन्होंने अब तक व्यापार जगत के कई विश्वस्तरीय पुरस्कार व अवार्ड प्राप्त किए हैं व साथ साथ ही जामनगर रिफाइनरी व रिलायन्स वन जैसे व्यापारिक उपक्रम भी स्थापित कर लिए हैं दुनिया के शीर्ष धनी व्यक्तियों में इनका नाम इसी दौरान आया है और इसी दौरान इनके मकान एंटेलिया का पूरी दुनिया में काफी ज़िक्र रहा है।
7. महात्मा गांधी (2.10.1869 8:35 पोरबंदर)- इनका जन्म लग्न नक्षत्र स्वाति ही है जिसके स्वामी राहु की दशा इन्हें 1922 से 1940 के मध्य मिली जिसमें इन्हांने अंग्रेजों से भारत की आजादी के लिए कई बार लोहा लिया, कई बार जेल गए लाहौर में कांग्रेस स्थापना की मीटिंग व नमक आंदोलन किया जिससे ये सारी दुनिया में भारतीय स्वतन्त्रता के पर्याय माने जाने लगे।
8. मंसूर अली खान पटौदी (05.01.1941 22:18 भोपाल)- इनका जन्म लग्न नक्षत्र पूर्वा फाल्गुनी है जिसके स्वामी शुक्र की दशा इन्हें 1956 से 1976 के बीच मिली। इस दौरान अपना क्रिकेट करियर आरंभ किया। 1961 में ये भारतीय क्रिकेट टीम में आए व 1962 में यह सबसे कम उम्र के क्रिकेट कप्तान बने और इन्होंने विश्वस्तर पर काफी नाम कमाया। बाद में इसी दौरान इन्हें क्रिकेट जगत व भारतीय खेल जगत से जुड़े कई पुरस्कार भी प्राप्त हुये जिनमें अर्जुन एवार्ड व विज्डन क्रिकेटर आफ दी इयर अवार्ड प्रमुख हैं। इसी दशा में इन्होंने अभिनेत्री शर्मिला टैगोर से प्रेम विवाह कर भारतीय फिल्म जगत में भी काफी हलचल मचा दी थी।
9. सुशील कुमार (22.10.1980 11:28 मोतीहारी बिहार)- इस जातक का जन्म लग्न नक्षत्र पूर्वाषाढ़ा है जिसके स्वामी शुक्र की दशा इन्हें 2011 से 2021 के दौरान मिली है और अभी से ही इनको शुक्र दशा का लाभ मिलने लगा है। इनका विवाह मार्च 2011 में हुआ और नवंबर 2011 में ये भारतीय टेलीविजन के सबसे बड़े खेल कौन बनेगा करोड़पति में यह 5 करोड़ रूपये की धनराशि जीतने वाले पहले व्यक्ति बने। इस जीत से ये पूरे भारतवर्ष में प्रसिद्ध हो गए साथ ही साथ कई अन्य टी.वी. कार्यक्रमों में भी भाग लेने का अवसर इन्हें प्राप्त हुआ। इन्हें भारत सरकार ने अपनी नरेगा योजना का ब्रांड एम्बेस्डर भी बनाया है।
10. आमिर खान (14.03.1965 9:21 मुंबई)- इनका जन्म लग्न नक्षत्र भरणी है जिसके स्वामी शुक्र की दशा इन्हें 1991 से 2011 के बीच मिली। इस दौरान ये भारत के सफलतम फिल्म कलाकार बने। इनकी फिल्मों ने अपार सफलता पायी। 2001 में इन्होंने अपनी निर्माण की कंपनी खोली जिसकी निर्मित फिल्म लगान ने इन्हें विश्व भर में पहचान दिलाई। यह फिल्म आस्कर नामांकन के लिए गयी थी। उसके बाद सन् 2007 में इन्होंने फिल्म निर्देशन में सफलतापूर्वक कदम रखा। सन् 2009 में इनकी अभिनीत फिल्म 3 इडियट्स ने भारतीय फिल्म जगत में कमाई का इतिहास रचा, इनके नाम पिछले 13 वर्षों से कोई भी असफल फिल्म न देने का रिकार्ड है जो पूर्णतया शुक्र दशा से ही बना है।
11. अब्राहम लिंकन (12. 2.1809 7:54 कैंटुकी अमेरिका)- इनका जन्म नक्षत्र स्वामी राहु है जिसकी दशा इन्हें 1830 से 1948 के मध्य मिली। इसी दौरान 1832 में इन्होंने अपना राजनीतिक जीवन आरम्भ किया। 1834 में ये चुनाव जीते व 1846 में ये अमरीकी संसद के सदस्य बने जिससे इनके भावी जीवन की नींव मजबूत हुई।
12. इंद्रकुमार गुजराल (14.12.1919 22:00 झेलम, पाकिस्तान)- इनका जन्म लग्न नक्षत्र अश्लेषा है जिसका स्वामी बुध है जिसकी दशा इन्हें 1992 से 2009 के बीच मिली। इस दौरान बिहार से राज्य सभा के सदस्य से भारत देश के प्रधानमंत्री बने (1997-1998)
13. हिटलर (20.04.1889 19:33 आस्ट्रिया)- इनका जन्म लग्न नक्षत्र स्वाति है जिसके स्वामी राहू की दशा इन्हें 1930 से 1948 के मध्य मिली। इस दशा में ये अपने देश जर्मनी के चांसलर बने फिर इन्होंने स्वयं को सर्वोच्च न्यायाध्श घोषित कर बाद में राष्ट्रपति पद प्राप्त किया तथा अपने महत्वाकांक्षी जीवन की शुरुआत की।
14. श्री के. एन. राव (12.10.1931 7:52 मछलीपट्टनम)- ज्योतिष के आधार स्तम्भ श्री राव जी का जन्म लग्न नक्षत्र विशाखा है जिसके स्वामी गुरु की दशा इन्हें 1951 से 1967 के मध्य मिली। इस दौरान इन्हें शिक्षा में स्कालरशिप मिली जिसके बाद इन्होंने भारत सरकार की नौकरी में कई महत्वपूर्ण विभागों में कार्य किया तथा साथ ही साथ ये ज्योतिष का अध्ययन भी करते रहे।
15. आर. के. डालमिया (7.4.1893 9:56 चिरावा राजस्थान)- इनका जन्म लग्न नक्षत्र मृगशिरा है जिसके स्वामी मंगल की दशा इन्हें 1936 से 1943 के समय मिली। इस दौरान इन्होंने भारत में सीमेंट उद्योग की नींव रखी जो बाद में भारतीय उद्योग जगत में मील का पत्थर साबित हुई।
16. बंकिम चन्द्र चटर्जी (26.6.1838 8:42 नौहाटी पश्चिम बंगाल)- इनका जन्म लग्न नक्षत्र श्रवण है जिसके स्वामी चन्द्र की दशा इन्हें 1868 से 1878 के बीच मिली जिसमें ये अंग्रेज सरकार के शासनकाल में मजिस्ट्रेट बने। इन्हें मान-सम्मान व पद-प्रतिष्ठा प्राप्त हुई। इसी दौरान इन्होंने पुस्तक लेखन का कार्य भी किया जिनसे इनका साहित्य जगत में बहुत नाम हुआ। इनकी लिखी पुस्तकों में प्रमुख मृणालिनी, रजनी, इन्दिरा, जुगलन, गुड़िया, राधारानी, कृष्णकांत ऊईल व विषवृक्ष हैं जिनके विषय में उस समय के अखबार में काफी चर्चा रही थी।
17. संजीव कुमार (9.7.1937 9:00 महाराष्ट्र)- अभिनेता संजीव कुमार के जन्म लग्न नक्षत्र मघा जिसके स्वामी केतु की दशा इन्हें 1968 से 1975 के दौरान मिली इस समय में इनकी बहुत सी फिल्मों ने सफलता पायी जिससे ये उद्योग में पूर्ण रूप से स्थापित हो गए। इन्हें इसी दौरान फिल्मों में अभिनय के लिए 4 बार फिल्मफेयर व 2 बार राष्ट्रीय पुरस्कार फिल्म आंधी (1971) व फिल्म अर्जुन पंडित (1973) के लिए प्रदान किया गया।
18. (8.12.1984 12:01 कोचीन)- इस जातिका का जन्म लग्न नक्षत्र शतभिषा है जिसके स्वामी राहु की दशा इसे 1994 से 2012 के मध्य मिली। इस दौरान जातिका ने सन् 2007 में भारतीय वायु सेना में बतौर पायलट प्रशिक्षण प्राप्त किया जिसके बाद सन् 2008 जून को ये फ्लाइंग अफसर तथा जून 2010 में ये फ्लाइट लेफ्टिनेंट बनाई गयीं।
19. (14.10.1954 8:57 दिल्ली)- इनका जन्म लग्न नक्षत्र विशाखा है जिसके स्वामी गुरु की दशा इन्हें 1999 से 2015 के बीच मिली है। इस दौरान इन्हें अब तक अपने कार्यक्षेत्र में दो बार (2009,2011) तरक्की मिल गयी है।
20. योगराज कंबोज (17.03.1950 00:00 अमृतसर)- इनका जन्म लग्न नक्षत्र अनुराधा हैं जिसके स्वामी शनि की दशा इन्हें 1977 से 1996 के मध्य मिली। इसी दौरान इन्हें कार्यक्षेत्र में 2 बार तरक्की (1977, 1990) मिली।
21. (8.2.1971 3:20 देहरादून)- इस जातक का जन्म लग्न नक्षत्र ज्येष्ठा है जिसके स्वामी बुध की दशा इन्हें 1996 से 2013 के मध्य मिली। इस दौरान इन्होंने शिक्षण व्यवसाय में काफी नाम कमाया। इसी समय इन्होंने ज्योतिष विषय का विधिवत अध्ययन किया व ज्योतिष के कई शोधपूर्ण लेख लिखे, ज्योतिष क्षेत्र में काफी मान सम्मान प्राप्त किया आजकल ये ज्योतिष शिक्षण व ज्योतिष द्वारा समाज सेवा कर रहे हैं।
22. नवेंदु शर्मा (4.3.1952 23:30 दिल्ली)- इस जातक का जन्म लग्न नक्षत्र विशाखा है जिसके स्वामी गुरु हं। गुरु की दशा इन्हें 1971 से 1987 के मध्य मिली। इस दौरान इन्हें अपनी शिक्षा हेतु (विदेश) लंदन जाने का अवसर मिला। वहीं इन्हें नौकरी की प्राप्ति भी हुई फिर वहीं इन्होंने विवाह किया और कुछ साल बाद ये अमेरिका जाकर बस गए। आजकल ये अमेरिका में ज्योतिष सिखाते हैं।